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छत्तीसगढ़ को ‘प्रकृति परीक्षण अभियान’ में राष्ट्रीय सम्मान: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने दी बधाई

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ShivFeb 25, 20252 min read

रायपुर।    छत्तीसगढ़ ने भारतीय चिकित्सा पद्धति राष्ट्रीय आयोग, नई…

भारत के विकास को गति दे रहा है मध्यप्रदेश : केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह

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ShivFeb 25, 20257 min read

भोपाल।      केन्द्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह…

सिविल लाइन रायपुर में क्रिश्चियन समुदाय के साथ शांति समिति की बैठक हुई आयोजित

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ShivFeb 25, 20253 min read

रायपुर।  पुलिस उपमहानिरीक्षक एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक रायपुर डॉ. लाल उमेद…

February 25, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

नए डीजीपी के लिए यूपीएससी को भेजा गया तीन नामों का पैनल, अरुण देव गौतम, पवन देव और हिमांशु गुप्ता के नाम शामिल

रायपुर।    डीजीपी अशोक जुनेजा का कार्यकाल 5 फरवरी को खत्म हो रहा है. नए डीजीपी के लिए छत्तीसगढ़ सरकार ने तीन नामों का पैनल यूपीएससी को भेज दिया है. इन नामों में 1992 बैच के आईपीएस पवन देव और अरुण देव गौतम तथा 1994 बैच के आईपीएस हिमांशु गुप्ता का नाम शामिल है. बताया जा रहा है कि डीजीपी की दौड़ के लिए पांच अफसरों का पैनल बनाया गया था. एसआरपी कल्लूरी और प्रदीप गुप्ता का नाम भी पैनल में रखा गया था, लेकिन यूपीएससी को भेजे गए पैनल में केवल तीन नाम ही रखे गए हैं.

गौरतलब है कि बतौर डीजीपी अशोक जुनेजा का कार्यकाल जुलाई 2024 में खत्म हो रहा था, लेकिन उनके रिटायरमेंट के ठीक पहले केंद्र सरकार ने उन्हें छह महीने के लिए एक्सटेंशन दे दिया था. एक्सटेंशन के लिए पहले नए डीजीपी के लिए जिन नामों पर सर्वाधिक चर्चा थी, उन नामों में अरुण देव गौतम और हिमांशु गुप्ता के नाम थे, लेकिन ऐन वक्त पर सब कुछ बदल गया. अब जब जुनेजा का एक्सटेंशन खत्म हो रहा है, ऐसे में नए डीजीपी के चेहरे की खोजबीन तेज हो गई है. राज्य सरकार ने जिन तीन नामों का पैनल यूपीएससी को भेजा हैं, इनमें से एक नाम अशोक जुनेजा के रिटायरमेंट के ठीक एक दिन पहले तक घोषित कर दिए जाएंगे.

पवन देव मजबूत दावेदार बन कर उभरे

अशोक जुनेजा का कार्यकाल बढ़ाये जाने के केंद्र के फैसले के बाद राज्य में तस्वीर भी तेजी से बदल गई. जुलाई महीने में अरुण देव गौतम और हिमांशु गुप्ता प्रमोट हो गए थे, लेकिन एक पुराने केस के चलते पवन देव का प्रमोशन लिफाफे में बंद हो गया. बीते अक्टूबर महीने में पवन देव को क्लीन चिट देते हुए उनके खिलाफ चल रही जांच की फाइल सरकार ने बंद कर दी. सरकार के इस फैसले के बाद पवन देव डीजीपी की दौड़ में शामिल हो गए. पवन देव एक मजबूत दावेदार बनकर उभर गए हैं.