स्वास्थ्य सेवा में बड़ी लापरवाही उजागर! एंबुलेंस की कमी से पंडो जनजाति में जन्मे नवजात की मौत, 4 घंटे तक इंतजार के बाद नहीं मिली मदद

सरगुजा। छत्तीसगढ़ के सरगुजा जिले के ग्राम मिग्राडांड में विशेष संरक्षित पंडो जनजाति की गर्भवती महिला ने घर पर स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया, लेकिन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र उदयपुर रेफर करने के बाद एंबुलेंस की कमी के कारण नवजात की मौत हो गई. इस घटना ने स्वास्थ्य सेवाओं में बड़ी लापरवाही को उजागर किया है. मां बनने के कुछ देर बाद ही खुशी मातम में बदल गई, जिससे महिला समेत पूरे का रो-रोकर बूरा हाल है.
जानकारी के अनुसार, ग्राम मिग्राडांड की विशेष संरक्षित पंडो जनजाति की गर्भवती महिला ने घर पर बच्चे को जन्म दिया. जन्म के बाद महिला और नवजात को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र उदयपुर ले जाने के लिए 102 एंबुलेंस का सहारा लिया गया. लेकिन वहां पहुंचने के बाद डॉक्टर ने उन्हें रेफर कर दिया. हालांकि, इसके बाद 108 एंबुलेंस की मदद के लिए 4 घंटे तक इंतजार किया गया, लेकिन एंबुलेंस नहीं मिली. इस देरी के कारण नवजात की स्थिति बिगड़ी और उसने दम तोड़ दिया.
बीएमओ डॉ. योगेंद्र पैकरा ने बताया कि परिजन बता रहे हैं कि बच्चे की तबीयत ठीक थी, लेकिन अचानक उसकी स्थिति बिगड़ी और अस्पताल पहुंचने के बाद समय पर एंबुलेंस न मिलने के कारण उसकी जान चली गई. बीएमओ ने कहा कि अब कहां पर क्या लापरवाही हुई, इसका पता जांच करने के बाद ही चलेगा.