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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का व्यक्तित्व निर्माण के साथ सेवा कार्यों पर विशेष आग्रह

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ShivDec 28, 20243 min read

रायपुर।   राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के पूजनीय सरसंघचालक छत्तीसगढ़ प्रवास पर…

न्यायधानी के FL-3 बार हैवेन्स पार्क पर आबकारी विभाग की कार्रवाई, लाइसेंस निलंबित कर जड़ा ताला…

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ShivDec 28, 20241 min read

बिलासपुर।   आबकारी विभाग ने न्यायधानी के FL-3 बार हैवेन्स पार्क…

कौशल्या विहार में रहने वाले लोगों के लिए अच्छी खबर

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ShivDec 28, 20242 min read

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पोलिंग पार्टी पर हमले के संदिग्धों के 11 ठिकानों पर NIA की दबिश, डेढ़ लाख कैश के साथ मिला IED…

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ShivDec 28, 20241 min read

रायपुर। पोलिंग पार्टी पर हमला करने वाले 11 संदिग्धों के धमतरी…

उपमुख्यमंत्री अरुण साव का बड़ा बयान, बोले- भाजपा संगठन में महिलाओं को मिलेगी जिम्मेदारी…

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ShivDec 28, 20242 min read

रायपुर।     छत्तीसगढ़ में भाजपा मंडल के अध्यक्षों की नियुक्ति…

December 28, 2024

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नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल को लिखा पत्र, शीतकालीन सत्र में पारित इन विधेयकों को बताया असंवैधानिक

रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल रामेन डेका को पत्र लिखकर विधानसभा के शीतकालीन सत्र में पारित दो विधेयकों को असंवैधानिक बताया है। उन्होंने राज्यपाल से इन पर उचित कार्रवाई की मांग की है। डॉ. महंत ने पत्र में बताया कि 19 दिसंबर 2024 को विधानसभा में छत्तीसगढ़ नगर पालिका (संशोधन) विधेयक, 2024 (क्रमांक 11) और छत्तीसगढ़ नगर पालिका (संशोधन) विधेयक, 2024 (क्रमांक 12) पारित किए गए। उन्होंने इन विधेयकों को संविधान के अनुच्छेद 243-प (243-यु) का उल्लंघन करार दिया है।

नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल रामेन डेका को लिखे पत्र में बताया कि विपक्ष ने इन दोनों विधेयकों पर विचार-विमर्श से पहले ही इन्हें संविधान के प्रावधानों के खिलाफ बताते हुए आपत्ति दर्ज कराई थी। साथ ही, उच्चतम न्यायालय के निर्णय (राइट पिटीशन संख्या 278/2022, 10 मई 2022) का हवाला देते हुए इन विधेयकों को सदन में प्रस्तुत न करने की अपील की थी। बावजूद इसके, विधेयकों को पारित कर दिया गया।

डॉ. महंत ने पत्र में यह भी बताया कि इन विधेयकों के लागू होने के बाद नगर पालिकाओं के पांच साल की अवधि के भीतर चुनाव कराने की बाध्यता समाप्त हो जाएगी और छह महीने की अतिरिक्त अवधि दी जा सकेगी। उन्होंने इसे संविधान के अनुच्छेद 243-प (3)(क) का उल्लंघन बताते हुए असंवैधानिक करार दिया है। नेता प्रतिपक्ष ने राज्यपाल से आग्रह किया है कि इन विधेयकों पर संवैधानिक प्रावधानों के तहत विचार किया जाए और जरूरी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।

डॉ. चरणदास महंत का राज्यपाल के नाम पत्र