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जीजा ने डंडे से पीट-पीटकर की साले की हत्या, मोटर गैरेज में काम करते थे दोनों

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ShivJan 20, 20251 min read

भानुप्रतापपुर।  कांकेर जिले के भानुप्रतापपुर थाना क्षेत्र के सेमरापारा में…

स्कूल बस हादसा : शिक्षक और चालक की मौत पर मुख्यमंत्री ने जताया गहरा शोक, घायल छात्रों के बेहतर इलाज के निर्देश

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ShivJan 20, 20251 min read

कोंडागांव।   मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज कोंडागांव के नेशनल हाइवे…

कांग्रेस विधायक दल की बैठक में नगरीय निकाय चुनाव को लेकर बनी रणनीति

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ShivJan 20, 20252 min read

रायपुर।  राजधानी के राजीव भवन में कांग्रेस विधायक दल की…

छत्तीसगढ़ के सर्वांगीण विकास के लिए ग्रामीण और नगरीय क्षेत्रों का समन्वित विकास जरूरी : मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय

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ShivJan 20, 20256 min read

रायपुर।  मर्यादा पुरूषोत्तम भगवान श्रीराम के आशीर्वाद से छत्तीसगढ़ विकसित…

January 20, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

विशेष पिछड़ी जनजाति की कमार महिलाएं गढ़ रही है विकास की गाथा

रायपुर।     कमार जनजाति मुख्य रूप से गरियाबंद जिले के छुरा, और धमतरी जिले के नगरी और मगरलोड विकासखण्डों में पाई जाती है। भारत सरकार द्वारा इन्हें विशेष पिछड़ी जनजाति का दर्जा दिया गया है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के सरकार में विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों को आर्थिक, समाजिक, शैक्षणिक उत्थान के लिए विशेष कार्य किए जा रहे हैं। छत्तीसगढ़ शासन द्वारा कमार परिवारों को स्वरोजगार से जोड़ने के लिए विशेष प्रयास किया जा रहा है। विशेष पिछड़ी कमार जनजाति की महिलाओं की आजीविका का मुख्य साधन बांस की कारीगरी और पारंपरिक खेती करना है। महासमुन्द जिले के पिथौरा ब्लॉक से 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित, गाँव सोनासिल्ली अब समृद्धि की ओर अग्रसर हो रहा है।

बिहान योजना के तहत, ग्राम सोनासिल्ली में तकेश्वरी कमार और सचिव गीता कमार के नेतृत्व में महिला विकास और सशक्तिकरण का एक नया अध्याय शुरू हुआ। कमार महिलाओं ने स्व सहायता समूह का गठन किया गया। इस समूह ने 15,000 रुपये के अनुदान के साथ आत्मनिर्भरता की नई शुरूआत की है। अपने कौशल और संसाधनों का उपयोग करते हुए, उन्होंने बांस की कारीगरी में हाथ आजमाया और आज बांस से सुन्दर सजावटी सामग्री बनाकर दुकानों में भी विक्रय कर रही है। बांस की सामग्रियों को बेहतरीन कला कृतियों में बदल दिया।