Special Story

उप मुख्यमंत्री अरुण साव नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों के साथ दो दिनों तक करेंगे मंथन

उप मुख्यमंत्री अरुण साव नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों के साथ दो दिनों तक करेंगे मंथन

ShivMay 4, 20253 min read

रायपुर।   उप मुख्यमंत्री तथा नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री अरुण…

जगद्गुरु शंकराचार्य जयंती उत्सव समारोह में शामिल हुए उप मुख्यमंत्री अरुण साव

जगद्गुरु शंकराचार्य जयंती उत्सव समारोह में शामिल हुए उप मुख्यमंत्री अरुण साव

ShivMay 4, 20252 min read

रायपुर।     जगद्गुरु स्वामी शंकराचार्य का जीवन हम सभी के…

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किया लॉयर्स चेम्बर एवं मल्टीलेवल पार्किंग का शिलान्यास

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किया लॉयर्स चेम्बर एवं मल्टीलेवल पार्किंग का शिलान्यास

ShivMay 4, 20252 min read

भोपाल।   मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने रविवार को जबलपुर में…

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने रीवा सिटीजन ऐप का किया शुभारंभ

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने रीवा सिटीजन ऐप का किया शुभारंभ

ShivMay 4, 20252 min read

भोपाल।   मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने रविवार को नगर पालिक…

May 4, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

युवाओं का भविष्य बर्बाद न हो, इसके लिए मैं हर संभव प्रयास करूँगा: बृजमोहन अग्रवाल

रायपुर।   रायपुर सांसद एवं वरिष्ठ भाजपा नेता बृजमोहन अग्रवाल ने प्रदेश के 2621 बर्खास्त बीएड प्रशिक्षित सहायक शिक्षकों की पीड़ा को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री विष्णु देव साय को पत्र लिखकर इन शिक्षकों को ONE TIME EXEMPTION (एक बार छुट) प्रदान करते हुए प्रयोगशाला सहायक/ व्यायाम शिक्षक जैसे समकक्ष पदों पर समायोजित करने की मांग की है।

श्री अग्रवाल ने अपने पत्र में यह स्पष्ट किया कि वर्ष 2023 में राज्य सरकार द्वारा जारी की गई भर्ती प्रक्रिया में तकनीकी कारणों से नियुक्त सहायक शिक्षकों को 16 माह की सेवा के उपरांत बर्खास्त कर दिया गया। यह निर्णय इन शिक्षकों और उनके परिवारों पर आर्थिक और मानसिक संकट बनकर टूटा है। अधिकतर शिक्षक मध्यम वर्गीय व बीपीएल परिवारों से आते हैं और अब बेरोजगारी के चलते उनके समक्ष रोजी-रोटी का संकट उत्पन्न हो गया है।

सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने अपने पत्र में स्पष्ट किया है कि ये युवा राज्य की शिक्षा व्यवस्था का हिस्सा बन चुके थे और आज वे मानसिक, आर्थिक एवं सामाजिक पीड़ा से गुजर रहे हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि राज्य सरकार संवैधानिक दायित्वों का निर्वहन करते हुए इन शिक्षकों को समकक्ष पदों पर एक बार की विशेष छूट (ONE TIME EXEMPTION) के माध्यम से समायोजित करे।

उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि राज्य के मिडिल और हाई स्कूलों में प्रयोगशाला सहायक जैसे कई समकक्ष पद रिक्त हैं, जिन पर इन योग्यताधारी बर्खास्त शिक्षकों को समायोजित किया जा सकता है। सांसद ने यह मांग की है कि राज्य सरकार संवेदनशीलता दिखाते हुए संविधान के अनुच्छेद 21 के अनुरूप जीवन रक्षा के अपने कर्तव्यों का पालन करे और इन शिक्षकों के भविष्य को अंधकारमय होने से बचाए।

बृजमोहन अग्रवाल का कहना है कि, “सत्ता में होने का अर्थ केवल शासन करना नहीं, पीड़ितों के आँसू पोंछना भी है। ये शिक्षक सिर्फ रोजगार नहीं, प्रदेश की भविष्य की नींव को संवारने वाले थे। मैं माननीय मुख्यमंत्री जी से निवेदन करता हूँ कि इस मामले में मानवीय दृष्टिकोण अपनाकर जल्द निर्णय लें।” श्री अग्रवाल के इस हस्तक्षेप से बर्खास्त शिक्षकों में आशा की नई किरण जगी है।