Special Story

छत्तीसगढ़ में दर्दनाक सड़क हादसा : माजदा से टकराई स्कूटी, युवक का सिर धड़ से हुआ अलग

छत्तीसगढ़ में दर्दनाक सड़क हादसा : माजदा से टकराई स्कूटी, युवक का सिर धड़ से हुआ अलग

ShivFeb 25, 20252 min read

बलौदाबाजार। छत्तीसगढ़ बलौदाबाजार जिले में एक दर्दनाक सड़क हादसा हुआ…

पंचायत चुनाव : परिणामों को लेकर हटा सस्पेंस, BJP की नंदिनी और बागी प्रत्याशी ने दर्ज की जीत

पंचायत चुनाव : परिणामों को लेकर हटा सस्पेंस, BJP की नंदिनी और बागी प्रत्याशी ने दर्ज की जीत

ShivFeb 25, 20253 min read

गरियाबंद।  पिछले 24 घंटे से जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक 1…

नाबालिग निकला पांच साल की बच्ची की हत्या का आरोपी, दुष्कर्म का किया था असफल प्रयास

नाबालिग निकला पांच साल की बच्ची की हत्या का आरोपी, दुष्कर्म का किया था असफल प्रयास

ShivFeb 25, 20252 min read

बिलासपुर। सरकंडा क्षेत्र स्थित स्वर्णिम ईरा कॉलोनी में हुई 5 साल…

बड़ी लापरवाही : अगले हफ्ते से शुरू होगी 10वीं-12वीं की बोर्ड परीक्षा, 2025 की जगह 2024 की बांट दी उत्तरपुस्तिकाएं

बड़ी लापरवाही : अगले हफ्ते से शुरू होगी 10वीं-12वीं की बोर्ड परीक्षा, 2025 की जगह 2024 की बांट दी उत्तरपुस्तिकाएं

ShivFeb 25, 20252 min read

गौरेला-पेंड्रा-मरवाही।  छत्तीसगढ़ में बोर्ड परीक्षा होने में कुछ ही दिन…

February 25, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

वनवासी रामप्यारे के सूखे खेतों में आई हरियाली, डबरी से मिली सिंचाई की सुविधा

रायपुर।    मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले के मनेंद्रगढ़ विकासखण्ड के ग्राम पंचायत पिपरिया की भौगोलिक स्थिति वनांचल जैसी है। लेकिन यहां किसानों को सिंचाई के लिए पानी की समस्या हमेशा बनी रहती है। वंचित वर्ग में आने वाले ऐसे ही एक आदिवासी परिवार के लिए खेती योग्य भूमि होने के बाद भी पानी का संसाधन ना होना एक बड़ी समस्या थी। ऐसे में मनरेगा के तहत बनी एक डबरी में सिंचाई की कमी पूरी कर खुशहाली का माध्यम बन गई। पहले केवल मानसूनी बारिश पर आधारित धान की खेती करने वाले आदिवासी किसान रामप्यारे के खेत में अक्सर सिंचाई के लिए पानी की कमी हो जाती थी। ऐसे में मेहनत करने के बाद भी उन्हें अपनी फसल से कोई लाभ नहीं मिल पाता था। परंतु इस बार सिंचाई की सुविधा पाकर रामप्यारे के परिवार ने समय पर अपने खेतों में रोपाई का कार्य पूरा कर लिया है और उनकी धान की फसल भी लहलहा रही है। इस खुशहाली के लिए महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना के तहत बनी एक डबरी इस किसान परिवार के लिए वरदान साबित हो रही है।

पहले श्री रामप्यारे की समस्या का निराकरण ग्राम सभा की बैठक में हुआ, जहां उन्होंने अपने खेतों में महात्मा गांधी नरेगा के तहत एक डबरी बनाए जाने का आवेदन प्रस्तुत किया। उनके आवेदन के आधार पर ग्राम सभा ने डबरी बनाए जाने का प्रस्ताव पारित किया और ग्राम पंचायत को एजेंसी बनाया और डबरी का निर्माण कार्य पूर्ण कराया गया। इसमें अकुशल मजदूरी करके इस परिवार को सौ दिवस का रोजगार भी प्राप्त हुआ। डबरी बन जाने के बाद रामप्यारे बताते हैं कि सब्जी लगाकर वह लगभग 20 हजार रुपए की आमदनी ले चुके हैं और इस बार उनके खेतों में समय पर धान की रोपाई का काम पूरा हुआ है। डबरी में पर्याप्त पानी होने के कारण वह इसमें अगले साल से मछली पालन करने की योजना बना रहे हैं। रामप्यारे के अनुसार लगभग तीन एकड़ खेतों में इस बार धान की अच्छी फसल होने से उन्हें आर्थिक लाभ मिलेगा। मनरेगा से बना एक संसाधन इस परिवार के लिए आजीविका की नई राहें बना रहा है। इसके लिए रामप्यारे ने मुख्यमंत्री विष्णु देव साय एवं महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना का धन्यवाद ज्ञापित किया है।