Special Story

अग्रवाल समाज के द्वारा किया गया श्रीमद्भागवत कथा का भव्य आयोजन

अग्रवाल समाज के द्वारा किया गया श्रीमद्भागवत कथा का भव्य आयोजन

ShivMay 29, 20252 min read

रायपुर। छत्तीसगढ़ प्रांतीय युवा अग्रवाल मंच, मारवाड़ी युवा मंच रायपुर…

जबलपुर से रायपुर के बीच चलेगी नई ट्रेन, व्यापार और पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा

जबलपुर से रायपुर के बीच चलेगी नई ट्रेन, व्यापार और पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा

ShivMay 29, 20251 min read

रायपुर।  रेल यातायात को और अधिक सुगम बनाने की दिशा…

May 30, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

दुधावा जलाशय की मछलियों ने अमेरिका में बनाई पहचान, ‘लोकल टू ग्लोबल’ से खुले रोजगार के नए अवसर…

कांकेर। छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले स्थित दुधावा जलाशय की मछलियों ने अब अंतरराष्ट्रीय पहचान बना ली है. हाल ही में यहां की मछली पहली बार अमेरिका निर्यात की गई, जिससे स्थानीय मछुआरों और मत्स्य व्यवसाय से जुड़े लोगों में उत्साह की लहर है.

जल संसाधन और मत्स्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार, दुधावा जलाशय की मछलियों की गुणवत्ता और स्वाद के कारण उनकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में मांग बढ़ी है. निर्यात के लिए विशेष रूप से तैयार की गई पंगेसियस एवं तिलापिया प्रजाति की मछलियों की पहली खेप अमेरिका भेजी गई, जहां इसकी काफी सराहना हो रही है.

इस सफलता से स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी बल मिलेगा. मत्स्य सहकारी समितियों के माध्यम से रोजगार के नए अवसर खुलेंगे और आने वाले समय में अन्य देशों में भी दुधावा जलाशय की मछलियों का निर्यात किया जा सकेगा.

जिला प्रशासन ने इस उपलब्धि को ‘मेक इन इंडिया’ और ‘लोकल टू ग्लोबल’ पहल के तहत एक बड़ी कामयाबी बताया है. वहीं, मछुआरों को अब उन्नत प्रशिक्षण और तकनीकी सहायता भी दी जा रही है ताकि वे अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप उत्पादन कर सकें.

दुधावा जलाशय में मत्स्योत्पादन को बढ़ावा देने हेतु नील क्रांति तथा प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजनांतर्गत 240 केज कल्चर की स्थापना की गई है. सहायक संचालक मछलीपालन समरसिंह कंवर ने बताया कि वर्तमान में केज में पंगेसियस एवं तिलापिया पालन कर 4 मेट्रिक टन प्रति केज का उत्पादन लिया जा रहा है. केज में उत्पादित मछली को स्थानीय स्तर पर जिले के फुटकर मत्स्य विक्रेताओं को विक्रय करने के साथ-साथ अन्य जिले के मत्स्य विक्रेताओं को भी मछली विक्रय किया जाता है. 

उन्होंने बताया कि तिलापिया मछली पोषक तत्वों का अच्छा स्रोत होने के कारण अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में अत्यंत लोकप्रिय है. इसकी खपत अमेरिका जैसे देशों में भी हो रही है. इस वर्ष दुधावा जलाशय के केज में उत्पादित अतिरिक्त मछली 140 टन को इन्सुलेटेड वाहन से कोलकाता ले जाकर एवं कोलकाता में मछली का प्रोसेसिंग कर फिलेट बनाने के बाद संयुक्त राज्य अमेरिका को निर्यात किया गया है.

यह मील का पत्थर न केवल कांकेर जिले के लिए, बल्कि पूरे छत्तीसगढ़ राज्य के लिए गौरव का विषय बन गया है.