नायब तहसीलदार और पुलिस के बीच विवाद: थाना प्रभारी और स्टाफ पर गाली-गलौज, झूठे केस में फंसाने और जान से मारने की धमकी का लगा आरोप
बिलासपुर। बिलासपुर में नायब तहसीलदार पुष्पराज मिश्रा और सरकंडा थाना पुलिस के बीच विवाद बढ़ता जा रहा है। तहसीलदार ने थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग और पुलिसकर्मियों पर गाली-गलौज, जान से मारने की धमकी, फर्जी केस में फंसाने और दुर्व्यवहार का आरोप लगाया है। इस घटना के विरोध में आज छत्तीसगढ़ कनिष्ठ प्रशासनिक सेवा संघ ने कलेक्टर और एसपी को ज्ञापन सौंपकर जांच की मांग की है। वहीं, पुलिस ने तहसीलदार और उनके भाई पर शासकीय कार्य में बाधा डालने और गाली-गलौज का मामला दर्ज किया है।
बता दें कि अशोक नगर बिलासपुर के रहने वाले पुष्पराज मिश्रा बस्तर जिले के करपादंड तहसील में प्रभारी तहसीलदार है। 16-17 नवंबर 2024 की दरमियानी रात वे रायपुर से बिलासपुर-हावड़ा सुपर फास्ट ट्रेन में बिलासपुर पहुंचे। 17 नवम्बर की रात 1:35 बजे रेलवे स्टेशन से अपने भाई और पिता के साथ घर लौट रहे रहे थे। रास्ते में डीएसएल कालेज रोड पर हनुमान मंदिर के पास दो पुलिस कर्मियों ने रुकने के लिए इशारा किया। वहां अंधेरा होने के अँधेरा होने के कारण गाड़ी कुछ मीटर दूर रोकी। पुलिस कर्मियों ने उन्हें पास बुलाया। नायब तहसीलदार मिश्रा का आरोप है कि पुलिस कर्मियों ने रुकने के लिए बोले रहे हैं तुम रुक नहीं रहे हो कहकर गाली-गलौज शुरू कर दी उस समय रात के लगभग 2.10 बज रहे थे। आरोप है कि दोनों पुलिस कर्मी नशे में लग रहे थे। पुष्पराज मिश्रा ने खुद के नायब तहसीलदार होने और बस्तर जिले के करपादंड तहसील में पदस्थ होने की बात कही। इस पर पुलिस कर्मियों ने 112 पेट्रोलिंग गाड़ी को फोन कर बुला लिया। पेट्रोलिंग गाड़ी में पहुंचे कर्मियों को भी अपने तहसीलदार नायब तहसीलदार होने की बात कही। इस पर उन्होंने थाना प्रभारी सरकंडा तोप सिंह नवरंग से मोबाइल पर बात की। इसके बाद नायब तहसीलदार मिश्रा के पिता को घर जाने कहा गया । वहीं थाना प्रभारी से मिलने की बात कह कर उन्हें गाड़ी में बैठा लिया गया। आरोप है कि गाड़ी में तीन लोग और सवार थे। उन्होंने दुर्व्यवहार कर कहा .…. ज्यादा बड़ा मजिस्ट्रेट हो गया है। तेरे जैसे को हमने ठीक कर दिया है।
नायब तहसीलदार ने शिकायत की तहरीर में कहा है कि ठंड की वजह से वर्दी के उपर काले रंग का कुछ पहने थे जिसके चलते उनका रैंक नहीं देख पाया। थाने पहुंचने पर पहचान पत्र माँगा गया। physical id नहीं होने पर फोन में उसका फोटो दिखाया। एक चश्मा पहने पुलिस कर्मी ने अल्कोहल मीटरमुंह के पास लाकर उसमें फूंकने को कहा। फूंकने पर उसमे कुछ नहीं बताया। ऐसा उसने दो बार कराया। उसके बाद एक पुलिस कर्मी ने उसमें पहले स्वयं फूंका फिर तुरंत मुझे फूंकने को बोला। इसके बाद उसे ले गए। आरोप है कि चश्मा पहने पुलिस कर्मी ने अपनी “सभ्यता की भाषा” में … ज्यादा घमंड है अभी शराब पीने का केस बनाता हूँ कह कर आपस में बात कर कहने लगे कि इसका मुलाहिजा रिपोर्ट तैयार कर रहा हूं, जल्दी ले जाते है। उसे बोले बैठो मुलाहिजा कराने चलना है।
नायब तहसीलदार मिश्रा का आरोप है कि जो रिपोर्ट तैयार कर मुलाहिजा कराने ले जा रहे थे मैंने उसे पढ़ने के लिए माँगा जिसे देने से मना कर दिया गया, तब उन्होंने उसे पढ़ कर सुनाने की लिए कहा भी कहा पर मना कर दिया गया। बोले तू बैठ यहाँ हम साहब से बात करते है। थाना प्रभारी सरकंडा तोपसिंग नवरंग से रात लगभग 2: 39 बजे मोबाइल पर कॉल कर पूछा मुझे थाने क्यों लाया गया है। मैंने क्या गलती की है। थाना प्रभारी मुझसे पूछा कौन हो। तब मैंने बताया नायब तहसीलदार हूं। बस्तर जिले के करपादंड तहसील में पदस्थ हूँ। सरकंडा अशोक नगर में रहता हूँ। मेरे पिता और भाई मुझे स्टेशन से लेकर घर जा रहे थे।
नायब तहसीलदार मिश्रा ने बताया कि थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग ने उनसे कहा कि ‘तू रूक मैं थाने आ रहा हुं, फिर बताता हूं।’ इसके कुछ देर बाद वह थाने आए और अपने स्टाफ से बात करने लगे। फिर मेरी ओर देखकर बोले तू ही है, चल खड़े हो। बहुत बड़ा कार्यपालिक मजिस्ट्रेट है, तेरी मजिस्ट्रेटी अभी …. में भरता हूँ। आरोप है कि धक्का देते हुए गाड़ी में जबरदस्ती बैठा दिया गया। इसी दौरान पिता का कॉल आया। थाना प्रभारी ने बोला इसका मोबाइल जब्त कर लो। उनका मोबाइल छीन लिया गया। गाड़ी में में बैठाकर उन्हें सिम्स अस्पताल लेकर गए। जहां ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर से कहा इनका मुलाहिजा करो शराब पीया है। इस पर नायब तहसीलदार मिश्रा ने कहा पहले मेरे घर वालों को बुलावाओ, उनके सामने मेरा मुलाहिजा करवाओं, आप लोग मुझे फर्जी केस में फंसा दोगे। तब एक कर्मी मेरे पास खड़ा कर दो लोग अंदर चले गए। बिना मुलाहिजा करावाए वे लोग मुझे सरकंडा थाना लेकर आ गए। घर नहीं पहुंचने पर नायब तहसीलदार मिश्रा के पिता और भाई भी तब तक थाने आ गए।
आरोप है कि थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग ने उनके भाई से भी गाली-गलोच की। इसके बाद नायब तहसीलदार मिश्रा के भाई ने रात 3:23 पर बिलासपुर कलेक्टर को फोन लगाकर घटना की जानकारी दी। कलेक्टर ने कहा थाना प्रभारी से बात कराओ। कलेक्टर की थाना प्रभारी की बात हुई। आरोप है कि इसके बाद थाना प्रभारी ने कहा मेरा अधिकारी एसपी है और मैं उनका ही कहना मानुंगा। कलेक्टर से बोलों की एसपी से बात करे। फिर भाई को गाली देने लगे। भाई इसका विडियो बनाने लगा। आरोप है कि थाना प्रभारी के कहने पर 4-5 आरक्षकों ने भाई के साथ गाली-गलौच कर हाथ मरोड़ कर मारपीट कर मोबाइल छीन ली। मोबाइल में रिकार्ड विडियो और शासकीय दस्तावेजों को डिलीट कर दिया। तड़के 4:21 बजे सबको घर जाने के लिए छोड़कर मोबाइल भी वापस किया गया। कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक से नायब तहसीलदार पुष्पराज मिश्रा ने सरकंडा थाना प्रभारी तोपसिंग नवरंग एवं अन्य पुलिस कर्मियों द्वारा शासकीय सेवक के साथ गाली-गलौच, जान से मारने, झूठे केस में फंसाने की धमकी और दुर्व्यवहार का आरोप लगाते हुए प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कर विधि के अनुरूप कार्रवाई करने की मांग की है।
आरक्षक ने नायाब तहसीलदार के खिलाफ दर्ज कराया मामला
सरकंडा थाना में पदस्थ आरक्षक रंजीत खांडे के प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराया है कि 16 नवंबर को रात 21 बजे से 17 नवंबर की सुब 09 बजे तक थाना सरकंडा के पेट्रोलिंग वाहन में आरक्षक क्रं 1170 विरेन्द्र साहू के साथ रात में गस्त डयूटी लगी थी। पेट्रोलिंग के दौरान टीआई से सूचना मिलने पर गस्त पाईंट बगदई मंदिर मुरूम खदान में लगे आरक्षक क्रमांक 1131 शरद खुसरो व आरक्षक क्रमांक 42 बसंत भारद्वाज से जाकर मिलने को बोला गया। पेट्रोलिंग में जाकर देखा तो दो अज्ञात व्यक्ति गस्त पाईट में लगे आरक्षक शरद खुसरो व बसंत भारद्वाज से बहस कर रहे थे। अज्ञात व्यक्ति द्वारा मैं नायाब तहसीलदार हूं कह कर बहस करने लगा। तब हमारे द्वारा उससे आई कार्ड की मांग किया गया तो मेरे पास आई कार्ड नहीं है मैं नायाब तहसीलदार हूं कह कर अपशब्दी का उपयोग किया। नशे का सेवन किया हुआ है। टीआई को अवगत कराकर उनके आदेश पर थाना लाकर उक्त अज्ञात व्यक्ति का मुलाहिजा कराया गया। डॉ ने मुलाहिजा रिपोर्ट में नशे में होने का लेख किया गया है। इसी बात को लेकर विनय कुमार मिश्रा द्वारा थाना सरकंडा के परिसर में मेरे भाई को थाना क्यों लाये हो और उसका मुलाहिजा क्यों कराये हो बोलकर शासकीय कार्य में बाधा डालते हुए पुलिस कर्मचारियों को गाली-गलौच कर जान से मारने कि धमकी दी। इस बात की जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों को दी गई। मामले में आरोपी विनय कुमार मिश्रा के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धारा 221, 296, 351(2) के तहत अपराध दर्ज किया गया है।