छत्तीसगढ़ विजन 2047: वर्किंग ग्रुप के अधिकारियों की बैठक, केन्द्रीय लॉजिस्टिक हब और औद्योगिक परिवहन अधोसंरचना विकसित करने पर जोर

रायपुर- एआई और आईटी सेवाओं में विस्तार, केन्द्रीय लॉजिस्टिक हब बनाने, प्रति व्यक्ति आय बढ़ाने कौशल सुधार जैसे विषयों पर विभिन्न विभाग के अधिकारियों ने गहन विचार-विमर्श किया। ’’अमृतकाल: छत्तीसगढ़ विजन @2047’’ डॉक्यूमेंट तैयार करने ”वाणिज्य उद्योग और अधोसंरचना विकास” विषय पर गठित वर्किंग समिति की द्वितीय बैठक राज्य नीति आयोग अटल नगर नवा रायपुर के सभा कक्ष में आज आयोजित की गई। वाणिज्य उद्योग और अधोसंरचना विकास से संबंधित लक्ष्य, चुनौतियां एवं सामर्थ्य विषय पर विस्तार से चर्चा की गई तथा वर्किंग समिति के सदस्यों द्वारा सुझाव देकर उन विषयों को दस्तावेज में शामिल कराने की बात कही।
बैठक में प्राकृतिक संसाधनों का मूल्यवर्धन वैश्विक उत्पाद, स्थानीय एमएसएमई और ग्रामीण उद्योगों के सशक्तीकरण, हरित विनिर्माण में छत्तीसगढ़ को अग्रणी राज्य बनाने, अनुसंधान और विकास को बढ़ावा देने, माइक्रो फाइनेंसिंग और रणनीतिक पीपीपी के साथ निवेश सुविधा बढ़ाने विस्तार से चर्चा की गई। इसी प्रकार प्रौद्योगिकी में कौशल उन्नयन करने विश्व स्तरीय प्रशिक्षण की आवश्यकता, अति आधुनिक मजबूत लॉजिस्टिक हब बनाने, एकीकृत औद्योगिक परिवहन अधोसंरचना विकसित करने, केन्द्रीयकृत लॉजिस्टिक हब, वेयरहाउस और मिनी औद्योगिक पार्क बनाने, सतत् परिवहन समाधन करने, राज्य एवं जिला स्तर पर समर्पित तकनीकी ढांचा विकास निधि की व्यवस्था कराने, वेयर हाउस हब के लिए अमेजन और फ्लिपकार्ड जैसे उद्योगों के दिग्गजों के साथ रणनीतिक पीपीपी विनेश को बढ़ावा देने जैसे मुद्दों पर गहन विचार-विमर्श किया गया।
इसी तरह राज्य में एआई और आईटी सेवाओं में विस्तार करने, केपीओ, बीपीओ और बीपीएम सेवाओं के लिए वैश्विक केन्द्र बनाने, एआई उत्कृष्टता के लिए हब और सेवाएं बढ़ाने, तकनीकी पार्क स्थापित करने, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय आईटी कंपनियों को आकर्षित करने सरकार द्वारा निरंतर विपणन की ब्राडिंग के लिए प्रयास करने, केपीओ, बीपीओ और बीपीएम सेवा प्रदाताओं को आकर्षित करने के लिए रायपुर और नवा रायपुर में समर्पित हरित ज्ञान पार्क का विकास करने, छत्तीसगढ़ एआई उत्कृष्टता पार्क की स्थापना करने, उच्च ऊर्जा दक्षता और वैश्विक ऊर्जा के साथ रायपुर तथा नवा रायपुर में आधुनिक ग्रीन डेटा सेंटर पार्क विकसित करने, अग्रणी क्लाउड सेवा प्रदाताओं के साथ साझेदारी करने सहित अन्य महत्वपूर्ण विषय पर दस्तावेज में शामिल करने पर चर्चा किया गया।
राज्य नीति आयोग के सदस्य सचिव अनूप श्रीवास्तव एवं सदस्य के. सुब्रमण्यम ने विभागों द्वारा बनाए गए लघु ,मध्यम एवं दीर्घकालीन विजन एवं रणनीतियों के निर्धारण हेतु अपना सुझाव दिए।
के सुब्रमण्यम ने जीडीपी, रोजगार, कृषि एवं संबंधित उद्योग, प्रति व्यक्ति आय ,सेवाएं, व्यय एवं निवेश, इंफ्रास्ट्रक्चर और लॉजिस्टिक, प्रशिक्षित कार्मिक ,शासन और नीतियों की अनुकूलता, प्रति व्यक्ति आय बढ़ाने के लिए कौशल सुधार जैसे विषयों पर अपने विचार दिए। उन्होंने कहा कि प्रति व्यक्ति आय को बढ़ावा देने के लिए उच्च उत्पादन वाले क्षेत्रों में रोजगार पैदा करना महत्वपूर्ण है।
सदस्य सचिव अनुप श्रीवास्तव ने कहा की बीपीओ और के पी ओ जैसी आईटी सेवा में विस्तार करने की आवश्यकता है साथ ही ग्रामीण क्षेत्र के रोजगार पर भी ध्यान देना होगा। वन धन ,लघु वन उपज को बढ़ावा देना चाहिए तथा उसके व्यवसायीकरण पर जोर दिया जाना चाहिए।
उद्योग विभाग के सचिव अंकित आनंद ने कहा कि छत्तीसगढ़ खनिज संसाधनों और भारी धातुओं से समृद्ध राज्य है। एकीकृत औद्योगिक पार्कों की स्थापना के माध्यम से खाद्य प्रसंस्करण जैसे प्राथमिकता वाले विकास क्षेत्रों को विकसित करने जैसे विषय को डॉक्यूमेंट में शामिल किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि हमारा राज्य सात राज्यों की सीमाओ से जुड़ा है जो की देश के 40 प्रतिशत हिस्से तक पहुंच है । यहां लॉजिस्टिक हब बनाने का यह एक मजबूत अवसर भी है।
बैठक में वाणिज्य उद्योग विभाग, हाउसिंग बोर्ड, ग्रामीण एवं नगर निवेश, पर्यटन, ऊर्जा, वित्त, क्रेडा, खादी एवं ग्रामोद्योग, खनिज संसाधन, आवास पर्यावरण, नागरिक उड्डयन विभाग, राज्य स्तरीय बैंकर्स समिति, छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल, अटल नगर विकास प्राधिकरण, लोक निर्माण विभाग सिडबी के अधिकारियों ने सुझाव दिए।
उल्लेखनीय है की विजन डाक्यूमेंट तैयार करने का उत्तरदायित्व राज्य नीति आयोग को सौंपा गया है। सितंबर तक विजन डॉक्यूमेंट का अंतिम रिपोर्ट तैयार करने की अपेक्षा की गई है इसके लिए अलग-अलग विषयों पर आठ वर्किंग ग्रुप बनाए गए हैं। इस अवसर पर नवा रायपुर विकास प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालन अधिकारी सौरभ कुमार, संयुक्त संचालक डॉ. नीतू गौरडिया सहित समिति के सदस्य गण उपस्थित थे।