Special Story

लापरवाह अफसरों पर कलेक्टर का एक्शन : 21 अधिकारियों को शोकॉज नोटिस, 7 दिन में समाधान के निर्देश

लापरवाह अफसरों पर कलेक्टर का एक्शन : 21 अधिकारियों को शोकॉज नोटिस, 7 दिन में समाधान के निर्देश

ShivMay 16, 20252 min read

मुंगेली। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के सुशासन के संकल्प को मूर्त…

जानिए पूर्व सीएम भूपेश बघेल के किस बयान पर भड़के मंत्री ओपी चौधरी

जानिए पूर्व सीएम भूपेश बघेल के किस बयान पर भड़के मंत्री ओपी चौधरी

ShivMay 15, 20252 min read

रायपुर। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को लेकर छत्तीसगढ़ में सियासी घमासान तेज…

May 16, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

प्राक्लन समिति के बाद अब संसद की अन्य दो स्थाई समितियों में सदस्य बने सांसद बृजमोहन अग्रवाल

रायपुर।      छत्तीसगढ़ के वरिष्ठ भाजपा नेता एवं रायपुर सांसद बृजमोहन अग्रवाल को संसद की दो स्थाई समितियां में सदस्य मनोनित किया गया है। इस संबंध में कल आदेश जारी हुआ। श्री अग्रवाल पहले ही लोकसभा की सबसे महत्वपूर्ण प्राक्कलन समिति के सदस्य बनाए जा चुके है। ऐसे में श्री अग्रवाल को सदन की तीन अहम कमेटियों में लिया जाना यह बताता है कि उनके 40 वर्षों के संसदीय कार्य के अनुभवों का लाभ केंद्रीय योजनाओं में लिया जाएगा। जारी आदेश के अनुसार बृजमोहन अग्रवाल को कैमिकल्स एवं फर्टिलाइजर कमेटी तथा शिक्षा, महिला एवं बाल विकास, युवा एवं खेल की स्थाई समिति में सदस्य मनोनित किया गया है।

जानकारी के मुताबिक यह स्थाई समितियां संसद के अंदर ही गठित की गई ऐसी समितियां होती हैं जो किसी विशेष विषय या मंत्रालय से संबंधित मामलों पर गहराई से अध्ययन करती हैं। ये समितियां सरकार द्वारा पेश किए गए विधेयकों का विस्तृत अध्ययन करती हैं और उनमें सुधार के लिए सुझाव देती हैं। किसी मुद्दे पर या विधेयकों पर पक्ष और विपक्ष में होने वाले गतिरोध को दूर करने के लिए भी संसद की स्थायी समिति अपनी भूमिका अदा करती है। उक्त समितियों के अलावा श्री अग्रवाल जिस प्राक्लन समिति में सदस्य है उसका उद्देश्य सरकारी मंत्रालयों और विभागों के कामकाज की जांच करना है, जो व्यय और धन के उपयोग के संदर्भ में हैं। समिति प्रशासन में दक्षता और अर्थव्यवस्था के लिए वैकल्पिक नीतियों का सुझाव भी देता है।

ऐसे में यह कहा जा सकता है कि रायपुर सांसद बृजमोहन अग्रवाल को केंद्र सरकार ने विभिन्न समितियां में स्थान देकर उनके 40 वर्षों के संसदीय कार्यों का सदुपयोग करना चाहती है।