Special Story

भारत का खोया हुआ भाई लगता है जापान : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव

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ShivJan 30, 20256 min read

भोपाल।    मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि…

औद्योगिक विकास के लिये हरसंभव सहायता देने सरकार प्रतिबद्ध: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव

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ShivJan 30, 20253 min read

भोपाल।  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि मध्यप्रदेश…

महाकुंभ में जाने वाले श्रद्धालुओं के लिये करें समुचित प्रबन्ध : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव

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ShivJan 30, 20251 min read

भोपाल।  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने प्रयागराज में हुई भगदड़…

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने जापान के इंडिया क्लब में महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि दीं

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ShivJan 30, 20252 min read

भोपाल।  मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की…

January 30, 2025

Apni Sarkaar

जो कहेंगे सच कहेंगे

RTE के भुगतान में हुआ 74 लाख रुपए का खेला! अब विभाग ने दिए FIR कराने के निर्देश…

रायपुर।     शिक्षा का अधिकार अधिनियम (आरटीई) के तहत स्कूलों को दी जाने वाली प्रतिपूर्ति राशि में 74 लाख रुपए की हेराफेरी के मामले में राज्य शासन ने रायपुर के पूर्व जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) जी. आर. चन्द्राकर के खिलाफ FIR दर्ज कराने के निर्देश दिए हैं. कई स्तर पर हुई जांच में राशि आबंटन में गड़बड़ी प्रमाणित होने के बाद शासन ने कार्रवाई करने निर्देशित किया है.

बताते हैं कि कुछ स्कूल अस्तित्व में ही नहीं थे और लाखों रुपए जारी कर दिए गए. इसी तरह दो तीन स्कूल के बजाय व्यक्ति के निजी खाते में राशि जमा की गई. आरटीई की राशि में हेराफेरी को लेकर शिकायत हुई तो स्कूल शिक्षा विभाग ने अलग-अलग स्तर पर जांच कराई. इसके बाद पूरे मामले में चौंकाने वाला खुलासा हुआ.

अलग-अलग स्तर पर हुई जांच

आरटीई की राशि में हेराफेरी की अलग-अलग स्तर पर जांच हुई. सभी में राशि में हेराफेरी प्रमाणित हुई और पूर्व डीईओ दोषी पाए गए. पहली जांच तत्कालीन संभागीय संयुक्त संचालक एस. के. भारद्वाज ने की. जांच में पाया गया कि जिन लोगों के खाते में रकम भेजी गई, उनमें से कुछ स्कूल काफी समय से बंद थे. वहीं कुछ स्कूलों के नाम पर व्यक्ति के निजी खाते में लाखों रुपए जमा किए गए. एक जांच जिला शिक्षा कार्यालय की ओर से कर संचालनालय को रिपोर्ट भेजी गई. इसमें बताया गया कि किस तरह जानबूझकर राशि दूसरों के खाते में अंतरित कराई गई. तीसरी जांच समग्र शिक्षा के पूर्व संयुक्त संचालक संजीव श्रीवास्तव ने जांच की. उन्होंने अपनी रिपोर्ट में आरटीई राशि के आबंटन में गड़बड़ी होने का जिक्र किया.